देश में सबसे व्यापक रूप से मनाया जाने वाला त्योहार जन्माष्टमी 11 को या 12! सस्पेंस खत्म

संदेशवाहक न्यूज़ डेस्क। कृष्ण जन्माष्टमी इस बार दो दिन मनाई जाएगी। भगवान श्रीकृष्ण का जन्म भाद्रपद की अष्टमी तिथि को रोहिणी नक्षत्र में हुआ था। इसी वजह से इस पर्व को श्रीकृष्ण जन्माष्टमी कहते हैं। 12 अगस्त को अष्टमी तिथि है लेकिन 11 अगस्त से ही अष्टमी लग जाएगी। यही वजह है कि इस बार कृष्ण जन्माष्टमी का उत्सव दो दिन मनाया जाएगा।
बता दें, 11 अगस्त को सूर्योदय के बाद ही अष्टमी तिथि शुरू होगी। अष्टमी तिथि मंगलवार, 11 अगस्त सुबह 9:06 बजे से शुरू हो जाएगी। यह तिथि बुधवार, 12 अगस्त सुबह 11:16 मिनट तक रहेगी। वैष्णव जन्माष्टमी के लिए 12 अगस्त का शुभ मुहूर्त बताया गया है। बुधवार रात 12.05 बजे से 12.47 बजे तक बाल-गोपाल की पूजा-अर्चना की जा सकती है।
इससे पहले भी कई बार ऐसा हो चुका है। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, भाद्रपद मास के अष्टमी तिथि को कृष्ण भगवान का जन्म कंस की बहन देवकी के गर्भ से हुआ था।
हालांकि कृष्ण का लालन-पालन नन्द बाबा और यशोदा मां ने किया था। भगवान कृष्ण का जन्म रोहिणी नक्षत्र में हुआ था इस कारण से अष्टमी तिथि और रोहिणी तिथि अलग-अलग दिन में पड़ने के कारण 12 अगस्त को भी जन्माष्टमी मनाई जाएगी।