नारी संसार: पखवाड़े के दौरान 57 महिलाओं ने कराई नसबंदी

देवरिया (संदेशवाहक न्यूज़ डेस्क)। कोविड-19 के आपदा काल में भी परिवार नियोजन को लेकर 11 से 31 जुलाई तक विश्व जनसंख्या स्थिरता पखवाड़ा आयोजित हुआ। इस दौरान जिले की 57 महिलाओं ने परिवार नियोजन की जिम्मेदारी निभाते हुए परिवार नियोजन के स्थाई साधन नसबंदी को अपनाया।
11 से 31 जुलाई तक चले जनसँख्या स्थिरता पखवाड़े के दौरान महिलाओं ने दिखाई जागरूकता
एसीएमओ व परिवार कल्याण कार्यक्रम के नोडल अधिकारी डॉ. बीपी सिंह ने बताया कि स्वास्थ्य इकाइयों और समुदाय में गर्भ निरोधक साधनों के वितरण के दौरान शारीरिक दूरी का पूरी तरह से पालन किया गया। ट्रूनेट मशीन से कोरोना संबंधी जांच के बाद ही महिलाओं को नसबंदी की सुविधा प्रदान की गई। पहले चरण में इच्छुक दंपतियों का पंजीकरण किया गया। आशा कार्यकर्ता, आशा संगिनी और एएनएम ने इस दौरान परिवार नियोजन के प्रति प्रेरित किया। आशा कार्यकर्ताओं ने उन घरों में विशेष रूप से संपर्क किया, जहां नव-विवाहित दंपति रह रहे हैं। आशा कार्यकर्ता इन लोगों को परिवार नियोजन की महत्ता बताते हुए उनकी पसंद के अनुसार गर्भ निरोधक साधन, जैसे- माला-एन, छाया, सी पिल्स एवं कंडोम उपलब्ध कराये।
पखवाड़े के दौरान लाभार्थियों को गर्भ निरोधक इंजेक्शन अंतरा और प्रसव पश्चात आईयूसीडी सेवाओं को अपनाने के लिए विशेष तौर पर प्रेरित किया गया। पखवाड़े में परिवार नियोजन काउंसलिंग एवं परिवार नियोजन के विभिन्न स्थाई और अस्थाई गर्भ निरोधक साधनों की जानकारी व उनके सही उपयोग के बारे में बताया गया। कम आयु में विवाह के दुष्परिणाम, देर से विवाह और विवाह के बाद पहले बच्चे का जन्म देर से और दो बच्चों के जन्म में अंतराल रखने की आवश्यकता पर बल दिया गया।
परिवार नियोजन के इन साधनों को भी अपनाया
कोरोना महामारी के बीच 31 से जुलाई तक आयूसीडी-909, पीपी आयूसीडी 304, अंतरा-225, कंडोम 70980 सहित अन्य परिवार नियोजन के साधनो को अपनाया गया।