‘जूतों से मार-मारकर अधिकारियों के बाल उखाड़ देंगे’, बागपत में BKU नेता हरेंद्र दांगी की खुले मंच से धमकी
Sandesh Wahak Digital Desk: उत्तर प्रदेश का बागपत जिला बीते दिन किसानों के आक्रोश का गढ़ बन गया। यहां भारतीय किसान यूनियन (भाकियू) के नेतृत्व में निकली ‘तिरंगा यात्रा’ ने अचानक बिजली विभाग और स्मार्ट मीटर के खिलाफ एक बड़े विरोध प्रदर्शन का रूप ले लिया। यह आंदोलन तब और उग्र हो गया, जब एक सभा में भाकियू नेता हरेंद्र दांगी ने खुले मंच से अधिकारियों को बेहद कड़ी चेतावनी दे डाली।
स्मार्ट मीटर और छापेमारी से किसान नाराज
किसानों के इस उग्र प्रदर्शन के पीछे की मुख्य वजह बिजली विभाग की तरफ से हो रही छापेमारी और स्मार्ट मीटर लगाने की कार्रवाई है। किसानों का आरोप है कि सरकार ने खुद उनसे किसानों को मुफ्त बिजली देने का वादा किया था, लेकिन अब इस वादे को तोड़ा जा रहा है। उनका कहना है कि मुफ्त बिजली मिलने की बजाय बिजली की दरें लगातार बढ़ रही हैं और छापे मारकर किसानों को डराया जा रहा है। किसान नेताओं ने कहा कि स्मार्ट मीटर के जरिए बिजली की खपत को बढ़ाकर दिखाया जा रहा है, जिससे उनकी आर्थिक हालत और खराब हो रही है।
भाकियू नेता हरेंद्र दांगी ने दी तीखी धमकी
बुधवार को कलेक्ट्रेट के लोकमंच पर बुलाई गई सभा में भाकियू नेता हरेंद्र दांगी ने माइक संभालते ही माहौल को और भी गर्म कर दिया। उन्होंने चेतावनी भरे लहजे में कहा, “हमें चाहे कुछ भी करना पड़े, करेंगे… अगर कहीं छापेमारी हुई या स्मार्ट मीटर लगाए गए तो जूतों से मार-मारकर अधिकारियों के बाल उखाड़ देंगे… मुख्यमंत्री ने कहा है बिजली फ्री है, फिर ये छापेमारी क्यों?” उनके इन तीखे शब्दों ने किसानों का जोश और भी बढ़ा दिया।
किसानी रणभूमि जैसा माहौल, आगे का आंदोलन होगा तेज
भाकियू नेताओं ने साफ कर दिया कि यह तो सिर्फ एक चेतावनी है। अगर उनकी मांगें नहीं मानी गईं, तो आगे का आंदोलन इतना तेज होगा कि सरकार और विभाग दोनों को पीछे हटना पड़ेगा। कलेक्ट्रेट का लोकमंच उस वक्त किसी किसानी रणभूमि जैसा नजर आ रहा था, जहां एक तरफ तिरंगा शान से लहरा रहा था, तो दूसरी तरफ बिजली विभाग के खिलाफ किसानों का गुस्सा तेज धार की तलवार बनकर चमक रहा था। इस घटना के बाद से बागपत में तनाव का माहौल बना हुआ है, और प्रशासन इस स्थिति को शांत करने की कोशिश में जुट गया है।
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