निकाय चुनाव के बीच Keshav Prasad ने किया ट्वीट, राजनीतिक माहौल गरमाया

उत्तर प्रदेश के डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य (Keshav Prasad Maurya) ने संकेतों में एक बड़े राजनीतिक बदलाव का संकेत दिया है।

Sandesh Wahak Digital Desk: उत्तर प्रदेश के डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य (Keshav Prasad Maurya) ने संकेतों में एक बड़े राजनीतिक बदलाव का संकेत दिया है। यूपी में इस समय नगर निकाय चुनाव की सरगर्मी तेज है। इसके अलावा रामपुर के स्वार और मिर्जापुर के छानबे विधानसभा उप चुनाव में राजनीतिक माहौल गरमाया है। इन तमाम राजनीतिक उठापटक के बीच विपक्षी दलों के बीच वोट बैंक की राजनीति चरम पर है। मुस्लिम वोट बैंक के ध्रुवीकरण को लेकर तमाम विपक्षी दल अपनी रणनीति साधने में जुटे हैं। भारतीय जनता पार्टी की ओर से पसमांदा मुस्लिमों का मुद्दा को छेडक़र एक बड़े वर्ग को साधने की कोशिश की गई है। इन तमाम राजनीतिक घटनाक्रमों के बीच डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य का एक बयान खासी चर्चा में आ गया है। केशव प्रसाद मौर्य ने ट्वीट किया है…

100 में 75 हमारा है
25 में बंटवारा है
और बंटवारे में भी हमारा है

 

Keshav Prasad का हिंदू-मुस्लिम समीकरण

डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य के ताजा बयान ने उत्तर प्रदेश माहौल को गरमा दिया है। यूपी चुनाव 2022 के दौरान 80-20 का नारा खासा चर्चा में रहा था। भाजपा की ओर से दावा किया गया था कि 80 फीसदी वोट पार्टी को मिल रहे हैं। 20 फीसदी वोट ही विपक्षी दलों को जाएंगे। विपक्षी दलों की ओर से इस मुद्दे को हिंदू-मुस्लिम वोट बैंक से जोड़कर पेश किया गया। अब केशव प्रसाद मौर्य 75-25 का नया समीकरण दे दिया है।

ट्वीट पर राजनीति शुरू

डिप्टी सीएम ने दावा किया है कि यूपी का 75 फीसदी वोट बैंक भारतीय जनता पार्टी के समर्थन में हैं। 25 फीसदी वोट बैंक तमाम दलों के बीच में बंट रहे हैं। केशव मौर्य का यह भी दावा है कि उन 25 फीसद वोट में से भी जो बंटवारा हो रहा है, उसमें भारतीय जनता पार्टी को वोट मिल रहे हैं। इस पर राजनीति शुरू हो गई है। केशव प्रसाद मौर्य के बयान का एक अलग ही मतलब निकाला जा रहा है।

दरअसल, पिछले दिनों मुस्लिम वोट बैंक को लेकर समाजवादी पार्टी, बहुजन समाज पार्टी और कांग्रेस के बीच जबरदस्त खींचतान दिखी है। समाजवादी पार्टी की ओर से लगातार इस वोट बैंक को लुभाने की कोशिश की जा रही है। अखिलेश यादव और डिंपल यादव समेत तमाम पार्टी नेता मुस्लिमों के मुद्दे को जोरदार तरीके से उठा रहे हैं। योगी सरकार के बुलडोजर मॉडल से लेकर एनकाउंटर नीति तक का विरोध कर रहे हैं। वहीं, अखिलेश और डिंपल ने तो बसपा सु्प्रीमो मायावती पर हमला कर मुस्लिम वोट बैंक में बिखराव की आशंका के संकेत दे दिए हैं।

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