‘गुटबाज़ी खत्म करो, बदलाव चाहिए तो…’, कांग्रेस नेताओं को राहुल गांधी का सख्त संदेश

Sandesh Wahak Digital Desk: कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने मंगलवार को मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में पार्टी के ‘संगठन सृजन अभियान’ का शुभारंभ किया। इस अभियान का मकसद प्रदेश में कांग्रेस के संगठन को जमीनी स्तर पर मजबूत करना और 2028 के विधानसभा चुनावों के लिए पार्टी को तैयार करना है।
राहुल गांधी ने पांच घंटे के दौरे के दौरान पार्टी पदाधिकारियों के साथ कई अहम बैठकें कीं और साफ शब्दों में कहा कि गुटबाज़ी अब बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उन्होंने नेताओं को निर्देश दिया आपस के झगड़े खत्म करो और एकजुट होकर काम करो। कोई भी फैसला ऊपर से थोपने की जरूरत नहीं है, अगर संगठन में बदलाव चाहिए तो खुलकर बताओ, हम उसे अमल में लाएंगे।
राहुल गांधी ने कहा कि कांग्रेस अब उस दिशा में आगे बढ़ रही है, जहां निर्णय नीचे से ऊपर की ओर लिए जाएंगे। उन्होंने ज़िला कांग्रेस कमेटियों की ताकत बढ़ाने पर ज़ोर देते हुए कहा कि आगे चलकर उम्मीदवारों के चयन से लेकर संगठनात्मक निर्णयों में उनकी अहम भूमिका होगी। साथ ही, जवाबदेही भी तय की जाएगी।
बीजेपी की मदद करने वालों पर भी नजर
बैठक में राहुल ने यह भी निर्देश दिए कि उन नेताओं की पहचान की जाए जो पर्दे के पीछे बीजेपी की मदद करते हैं। उन्होंने सख्त लहजे में कहा कि अगर संगठन में कोई व्यक्ति गलत तरीके से काम करता है, तो उसे तुरंत हटाया जाएगा। हेराफेरी कतई बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
कांग्रेस मीडिया विभाग के अध्यक्ष डॉ. मुकेश नायक ने जानकारी दी कि ब्लॉक, वार्ड, पंचायत और सेक्टर स्तर पर कांग्रेस कमेटियों का गठन तेज़ी से किया जाएगा, जिससे पार्टी एक मज़बूत संगठन के साथ 2028 के चुनावी मैदान में उतर सके।
कांग्रेस की विचारधारा पर केंद्रित होगा अभियान
नायक ने कहा कि कांग्रेस पार्टी अब जाति-धर्म के झूठे दिखावे की बजाय सामाजिक समता और समावेशी विकास के अपने मूल मंत्र पर काम करेगी। उन्होंने बीजेपी द्वारा राहुल गांधी पर इंदिरा गांधी को जूते पहनकर श्रद्धांजलि देने के आरोप को खारिज करते हुए कहा हम कर्मकांड नहीं, कर्म में विश्वास करते हैं। जनता अब नकली भावनाओं और कपट से ऊब चुकी है।
राहुल ने मांगे सुझाव, सभी मोबाइल किए गए बंद
बैठकों के दौरान वरिष्ठ नेताओं के मोबाइल फोन बंद करवा दिए गए, ताकि पूरी तरह चर्चा पर फोकस रहे। राहुल गांधी ने सभी नेताओं से सुझाव मांगे और एकजुटता से बीजेपी का मुकाबला करने का आह्वान किया।
हालांकि, पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ बैठक में मौजूद रहे, लेकिन उनके बेटे और सांसद नकुलनाथ की गैरमौजूदगी पर पूछे गए सवाल पर डॉ. नायक ने कहा कमलनाथ जी खुद आए हैं, वही काफी है। राहुल गांधी के इस दौरे को कांग्रेस की 2028 में सत्ता वापसी की रणनीति का अहम हिस्सा माना जा रहा है, जिसमें संगठन को नई ऊर्जा देने और जमीनी स्तर पर दोबारा मजबूती से खड़े होने की तैयारी की जा रही है।
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